मथुरा। बुधवार को भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता रवि माहेश्वरी का ह्दयगति रूक जाने से आकस्मिक निधन हो गया। वे लगभग 70 वर्ष के थे। बुधवार सायं आकाशवाणी मोक्ष धाम पर उनका अंतिम संस्कार किया गया। इस दौरान कई राजनीतिक दलों के नेता, गणमान्य नागरिक मौजूद रहे। रवि माहेश्वरी भाजपा के वयोवृद्ध कद्दावर नेता श्री बांके बिहारी माहेश्वरी के ज्येष्ठ पुत्र थे। अपने हंसमुख और मिलनसार स्वभाव के चलते खासे लोकप्रिय थे। जिलाध्यक्ष मधु शर्मा ने कहा कि कष्ट के इस क्षण में समस्त भाजपा परिवार शोकाकुल परिवार के साथ है और इस विपत्ति के क्षण में ईश्वर से प्रार्थना करते हैं कि परिवारीजनों को धैर्य और साहस प्रदान करें। पूर्व पालिका अध्यक्ष भाजपा के वरिष्ठ नेता वीरेंद्र अग्रवाल ने कहा रवि माहेश्वरी का निधन पार्टी की अपूर्णनीय क्षति है। भाजपा के पितामह, पार्टी के संस्थापक सदस्य श्रीबांके बिहारी माहेश्वरी के लिए बड़ा आघात है। इससे पूर्व कई वर्ष पहले छोटे बेटे प्रशांत के निधन से उन्हें सदमा लगा था, अभी वो इस सदमे से उबर भी नहीं पाए कि बड़े बेटे का निधन हो गया। संकट की इस घड़ी भाजपा पार्टी उनके साथ खड़ी है। रवि माहेश्वरी की उठावनी शुक्रवार को सांय तीन से चार बजे तक बीएसए काॅलेज हाॅल में होगी। भाजपा नेता के निधन पर ऊर्जा मंत्री श्रीकान्त शर्मा, कैबिनेट मंत्री लक्ष्मीनारायण , जीएलए के कुलाधिपति नारायण दास अग्रवाल, तेजवीर सिंह, रविकान्त गर्ग, एसके शर्मा, श्याम सिंह अहेरिया, नरदेव , भानुप्रताप सिंह, अनिल , संजय लवानिया, मनीषा पाराशर, अमित चैधरी, राहुल गौतम, हरिमोहन सैनी, महीपाल तरकर, सत्यपाल चैधरी, देवेष पाठक, संजय प्रताप, पीयूष राघव, गिर्राज वाल्मीकि, पीयूष धनगर, प्रवीन ठाकुर, रवि अहेरिया, निर्मला बघेल, कन्हैयालाल गोयल, पवन वाष्र्णेय, अजय परखम, सचिन चतुर्वेदी, मुकेश भार्गव, कृष्णकान्त बौबी, ठाकुर गोपेन्द्र सिंह आदि ने शोक व्यक्त किया।
गोकुल बैराज पर मिला व्यापारी का शव, पुलिस तलाश रही है वजह
मथुरा। गोकुल बैराज के पास यमुना में आगरा के गलीचा कारोबारी का शव मिलने से सनसनी फैल गई। महावन पुलिस ने शव को यमुना से निकालकर कब्जे में लिया है। परिजन हत्या की आशंका जता रहे हैं, जबकि पुलिस प्रथम दृष्टया डूबने से मौत होना बताई जा रही है।
महावन पुलिस को मंगलवार को सूचना मिली कि गोकुल बैराज के खंभा नंबर 14 के पास एक शव फंसा हुआ। सूचना पर पहुंची महावन पुलिस ने शव को निकालकर कब्जे में लिया। मृतक की जेब से मिले आधार कार्ड से पहचान आगरा के विजय नगर की खंडेलवाल कॉलोनी निवासी मनोज मित्तल (42) पुत्र हरिओम मित्तल के रूप में हुई। पेशे से गलीचा कारोबारी सोमवार की सुबह घर से निकले थे, फिर नहीं लौटे। मृतक के मामा ब्रजमोहन गुप्ता ने हत्या की आशंका जताई है। उनका कहना है कि वह सोमवार को निकलने के बाद घर नहीं लौटे तो काफी तलाश किया। सुबह पुलिस को फोन आया तो जानकारी हुई।
यूपी में 19 जिलों के बदल दिए बीएसए, कई अफसरों का कार्य क्षेत्र बदला, पढ़िए लिस्ट
बेसिक शिक्षा विभाग ने मंगलवार को नए बेसिक शिक्षा अधिकारियों की तैनाती कर दी। 27 अधिकारियों की तैनाती में फेरबदल किया गया। दिनेश कुमार को लखनऊ का बीएसए बनाया गया है। इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया है। बीते दिनों कुछ अधिकारियों को प्रोन्नत कर माध्यमिक शिक्षा विभाग में तैनाती दी गई थी। इसके चलते पद रिक्त हो गए थे।


ब्रज में होली के उत्सवों में बरसेगा आनंद का रंग, कब कहां होंगे होली उत्सव देखिए पूरी लिस्ट
ब्रज में 40 दिन होली के उत्सव होते है। शुरूआत बसंत पंचमी से होती है। बरसाने की लठामार, गोकुल की छड़ीमार होली, श्रीकृष्ण जन्मस्थान की फूलों की होली और दाऊजी का हुरंगा इस उत्सव का विशेष आकर्षण है। इस बार होली के उत्सव को विशेष उल्लास के साथ मनाने की तैयारी हो रही है। सीएम योगी आ रहे है ऐसे में इस उत्सव को आकर्षक बनाने के लिए अधिकारी जी-जान से जुटे है।

यमुना में बह आए चार नवजातों के शव, घाट पर मौजूद लोगों ने बुलाई पुलिस
मथुरा के बंगालीघाट पर सोमवार को यमुना में तीन नवजातों और एक भ्रूण को बहता देख सनसनी फैल गई। सूचना पर पहुंची पुलिस ने नाविकों की मदद से दो को बाहर निकाला, जो मृत थे। वहीं दो नवजात तेज धारा में बह गए। ये घटना सोमवार दोपहर की है। नमामि गंगे परियोजना में आगरा होटल के सामने बंगालीघाट पर कार्यरत कर्मचारी मुन्ना ने दो नवजात को यमुना में बहते हुए देखा। दोनों नवजात यमुना की तेज धारा में बह गए।
इसके कुछ देर बाद ही दो और नवजात यमुना में बहते हुए आए। यह देखकर यमुना किनारे बैठे लोग हैरान रह गए। लोगों के कहने पर नमामि गंगे के कर्मचारियों ने दोनों को बाहर निकाला। यह भी मृत थे।

गश्त कर रही थी पुलिस तभी जीप कार से भिड़ी, पांच पुलिसवालों समेत सात घायल
रविवार देर रात एसएसआई थाना हाईवे सुंदर सिंह कसाना दो उप निरीक्षक जीप चालक, एक सिपाही के साथ गश्त पर थे ।बताते हैं कि तभी हाइवे पर जय गुरुदेव आश्रम के समीप इको स्पोर्ट्स कार से पुलिस जीप की भिड़ंत हो गई। इस दौरान सभी पांच पुलिसकर्मी समेत सात लोग घायल हो गये। सूचना मिलने पर पहुंची पुलिस ने सभी घायलों को उपचार के लिए प्राइवेट नर्सिंग होम में भर्ती कराया। एसएसआई के चेहरे पर चोट आई है। घटना की सूचना मिलने पर देर रात एसपी सिटी सीओ रिफाइनरी आदि ने घायलों का हालचाल जाना। एसपी सुरक्षा ज्ञानेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि की बीती रात ईको कार से पुलिस की गश्ती जीप भीड़ गयी थी। इसमें एसएसआई कसाना, दो दारोगा,दो सिपाही व दो अन्य घायल हो गए।
बरसाने लठामार होली देखने आ रहे है सीएम योगी आदित्यनाथ
बरसाना की लठामार होली देखने सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 4 मार्च को आएंगे। सीएम नन्दगांव से आयी ध्वजा का पूजन भी करेंगे। इस कार्यक्रम के लिए संस्कृति विभाग से लेकर पर्यटक विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी है। इस बार विगत वर्षों की अपेक्षा बेहतर सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे।
कैबिनेट मंत्री चौधरी लक्ष्मीनरायण, ब्रज तीर्थ विकास ट्रस्ट के उपाध्यक्ष शैलजाकांत मिश्र, पर्यटन निदेशक एनजी रविकुमार, जिलाधिकारी सर्वज्ञराम मिश्र मथुरा-वृंदावन विकास प्राधिकरण के सीईओ नागेन्द्र प्रताप के साथ दर्जनों विभागों के अधिकारियों के साथ बरसाना स्थित रंगीली महल में ग्रामीणों के साथ मीटिंग ली गई। जिसमें सभी विभागों को 25 फरवरी तक होली मेला की तैयारियों को पूरा करने के निर्देश दिए गए। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री योगीआदित्य नाथ ने अयोध्या की रामनवमी और बरसाना की लठामार होली भव्य मनाने के साथ विश्व पटल पर पर्यटक के रूप में पहचान दिलाने और उन स्थानों को तीर्थ स्थल का दर्जा देने के बाद राजकीय मेला घोषित कर दिया था। उसके बाद सरकार ने बरसाना नन्दगांव की लठामार होली के लिए देशी विदेशी पर्यटकों को लुभाने के लिए तमाम तरह के सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए।
सांस्कृतिक कैबिनेट मंत्री चौधरी लक्ष्मीनारायण ने बताया कि इस बार की बरसाना की लठामार होली में मुख्यमंत्री बरसाना आएंगे। सांस्कृतिक विभाग की तरफ से आयोजित होने वाले होली के प्रोग्राम इस बार पहले की अपेक्षा बेहतर किए जाएंगे। विधायक निधि से बरसाना कस्बे में स्थाई रूप से 50 सीसी कैमरे नगर के विभिन्न चौराहों व तिराहों पर लगाए जाएंगे।
कागजों से जर्जर इमारतों के खतरे को रोकेगा प्रशासन
बरसाना। रंगीली गली चैक जो वीआइपी अमला स्थल भी है, इस चौक के चारों ओर जर्जर इमारतों का जाल है। ये जर्जर इमारत कही होली के रंग में भंग न डाल दे। प्रशासन हर बार मेला मीटिंगों में इन भवनों को लेकर महज नोटिस देने की कार्यवाही कर अपने कर्तव्यों की इतीश्री कर लेता है। ये इमारतें सौ से डेढ़ सौ बर्ष पुरानी है जो कभी भी बड़े हादसे का कारण बन सकती है। उपजिलाधिकारी गोवर्धन राहुल यादव ने इस सवाल पर बस इतना कहा कि इस बार जर्जर इमारतों पर किसी को बैठने नहीं दिया जाएगा। सभी जर्जर इमारतों को चिन्हित किया जा रहा है। वहीं होली के दौरान सभी जर्जर इमारतों में ताला लगवा दिया जाएगा।
बीएसए उड़ा रहे है राज्य परियोजना निदेशक के आदेशों की धज्जियां, खुद शिक्षक कर रहे है खुलासा
रवि यादव
मथुरा। बेसिक शिक्षा अधिकारी चंद्रशेखर राज्य परियोजना निदेशक के आदेशों की धज्जियां उड़ा रहे है। शासन की शिक्षा को लेकर महत्वपूर्ण योजना से खिलवाड़ का खुलासा करते हुए शिक्षकों ने मुख्य विकास अधिकारी से गुहार लगाई है। इस मामले में विकास खंडों के कई शिक्षक संगठनों ने पत्र लिखा है।
ये मामला एकीकृत सेवारत शिक्षक प्रशिक्षण कार्यक्रम (निष्ठा) से जुड़ा हुआ है। इस योजना में शिक्षकों को ट्रेनिंग दी जा रही है। विज्ञान, गणित, सामाजिक विज्ञान, हिंदी व अंग्रेजी विषयों के लिए संदर्भदाताओं का चयन मानकों को ताक पर रखकर किया गया है। इस ट्रेनिंग को देने के लिए की रिसोर्स पर्सन (केआरपी) का चयन बीआरसी, सीटीई सीनियर सेकेंड्री स्कूल के नियमित फकेल्टी में से हुआ है।
जो आदेश है उसके अनुसार इसके लिए आवेदन लेकर लिखित परीक्षा कराई जानी चाहिए थी। लेकिन शिक्षक संगठनों से जुड़े शिक्षकों का आरोप है कि केआरपी चयन की प्रक्रिया पूरी कराए बिना मनमाने तरीके से उनका चयन कर लिया गया है। इसका सीधा असर शिक्षा की गुणवत्ता पर पड़ेगा।
धनराशि के बंदरबाट का खेल
दरअसल इस ट्रेनिंग के लिए सरकार ने अच्छी खासी धनराशि जारी की है। इसमें प्रत्येक शिक्षक पर 2500 रूपया खर्च किया जाना है। जैसा कि सूत्र बता रहे है कि सारा खेल इस धनराशि को हड़पने का है। इसके लिए खंड स्तर पर अपने चहेते शिक्षकों को केआरपी बनाया जा रहा है। ताकि ट्रेनिंग के लिए आई धनराशि का गबन सफाई से कर सकें। इस मामले में बेसिक शिक्षा अधिकारी चंद्रशेखर का पक्ष लेने का प्रयास किया लेकिन उनका फोन नहीं उठा।
डाक्टर निर्विकिल्प अपहरण कांड का एक और सच, आखिर वो पांचवा शख्स कौन था, जिसका पुलिस ने नहीं किया जिक्र
मथुरा। चर्चित डॉक्टर निर्विकल्प अग्रवाल अपहरण कांड ने देश भर में यूपी पुलिस की किरकिरी करा दी है, तो मथुरा पुलिस की वर्दी पर ऐसा दाग लगा दिया है जिसके साफ होने में लंबा समय गुजर जाएगा। बहरहाल इस सनसनीखेज अपहरण कांड का एक और सच आपको हैरत में डाल देगा।
अपहरण की दहशत से निकलने के बाद पीड़ित चिकित्सक ने अपने खास चिकित्सक दोस्तों को ये दास्तां सुनाई। इस पूरे घटनाक्रम में एक बात है जिसका जिक्र तत्कालीन एसएचओ जगदंबा सिंह ने अपनी दर्ज कराई रिपोर्ट में नहीं किया। इस रिपोर्ट में उन्होंने सन्नी पुत्र देवेंद्र मलिक निवासी सैनिक विहार कॉलोनी कंकड़खेड़ा मेरठ, महेश पुत्र रघुनाथ, अनूप पुत्र जगदीश निवासी कोलाहर नौहझील और नितेश का जिक्र किया। जबकि विश्वसनीय सूत्र बताते है कि जब अपहरणकर्ताओं ने डाक्टर को उसकी गाड़ी में डाल लिया तो उन्होंने चिकित्सक से उसका परिचय पूछा। यानि एक बार बदमाशों को भी इस बात की गफलत हुई कि उन्होंने कहीं किसी गलत आदमी का तो अपहरण नहीं कर लिया है। इस पर उन्होंने डाक्टर से उनका पूरा परिचय, उनके घर, हाॅस्पीटल, प्रेक्टिस के स्थानों की जानकारी ली। ये जानकारी उन्होंने फोन पर किसी शख्स को दी। उसी शख्स ने करीब दस मिनट बाद बदमाशों को बताया कि जिसका अपहरण हुआ है वो सही है। बड़ा सवाल ये है कि आखिर इस कांड का मास्टर माइंड कौन है। पुलिस संदेह के घेरे में इसलिए है कि जब उसने बदमाशों की काॅल डिटेल, सीडीआर निकलवा ली तो रिपोर्ट में उस पांचवे शख्स का जिक्र क्यों नहीं किया। इस मास्टर माइंड को लेकर चिकित्सक भी परेशान है और तरह-तरह की चर्चाएं फिजां में तैर रही है।
पूर्व पीएम राजीव गांधी के सामने दिलीप चतुर्वेदी को एसएस आहलूवालिया ने चलती ट्रेन से दिया था धक्का
विजय कुमार गुप्ता
मथुरा। बात उस समय की है जब राजीव गांधी प्रधानमंत्री पद से हट चुके थे। वे एक जन सभा को संबोधित करने के लिये फ्रांटियर मेल द्वारा दिल्ली से भरतपुर जा रहे थे। मथुरा के पत्रकारों को इसकी भनक लग गई और पत्रकारों का दल भी उसी ट्रेन में सवार हो लिया।
पत्रकार सवाल पर सवाल पूछे जा रहे थे और भरतपुर स्टेशन पर ट्रेन धीमी होने लगी। राजीव गांधी के साथ तत्कालीन विधायक प्रदीप माथुर के अलावा पूर्व केंद्रीय मंत्री एसएस आहलूवालिया व अन्य राष्ट्रीय नेता भी थे। जब प्लेटफार्म पर ट्रेन रैंग रही थी और पत्रकार राजीव गांधी से प्रश्न पर प्रश्न पूछे जा रहे थे। यह बात एसएस आहलूवालिया को नागवार गुजर रही थी। इसी मध्य दिलीप चतुर्वेदी जो वर्तमान में दैनिक हिंदुस्तान मथुरा के जिला प्रतिनिधि हैं तथा उस समय दैनिक आज में थे, की एसएस आहलूवालिया से नौंक-झौंक हो गयी। इसी दौरान आहलूवालिया बौखला उठे और उन्होंने दिलीप चतुर्वेदी को चलती ट्रेन से धक्का दे दिया। दिलीप लड़खड़ाते हुए प्लेटफार्म पर आ गए और जमीन पर गिरते-गिरते बाल-बाल बचे तथा उन्होंने अपने को संभाल लिया।
इस बात पर सभी पत्रकार एकदम क्रोधित होकर राजीव गांधी से आहलूवालिया द्वारा की गई इस नीचतापूर्ण हरकत की शिकायत करने लगे। राजीव गांधी को भी आहलूवालिया की यह बात बहुत नागवार गुजरी और न सिर्फ उन्होंने आहलूवालिया को उनके इस कृत्य के लिये डांटा बल्कि स्वयं भी हाथ जोड़ कर माफी मांगी।
चलती ट्रेन में एक और रोचक किस्सा हुआ। जब प्रदीप माथुर ने पत्रकार वार्ता के बाद मेरा परिचय राजीव गांधी से यह कहकर कराया कि ये विजय गुप्ता जी हैं, हमारे यहां के वरिष्ठ पत्रकार हैं। इस पर राजीव गांधी ने खड़े होकर अभिवादन करते हुए मुझसे सीट पर बैठने को कहा तब मैंने उनसे कहा कि पहले आप तशरीफ रखिये। राजीव गांधी बोले कि नहीं आप पहले बैठे। फिर मैंने पुनः आग्रह किया कि आपके सामने पहले मेरा बैठना ठीक नहीं, आप ही पहले बैठिये। तीन-चार बार पहले आप, पहले आप हुई और फिर पता नहीं राजीव गांधी को क्या सूझा कि उन्होंने मेरे दोनों कंधों को पकड़ा और पूरी ताकत लगाकर जबरदस्ती पहले मुझे सीट पर बैठाया और खुद बाद में बैठे।
ऐसी महानता थी राजीव गांधी में कि वे छोटे से छोटे व्यक्ति की भी इतनी कद्र करते थे। उनकी सौम्यता और सज्जनता तारीफेकाबिल थी।
भरतपुर तक की इस यात्रा में तत्कालीन विधायक प्रदीप माथुर से उनकी निकटता स्पष्ट प्रतीत हो रही थी। एक बार तो उन्होंने प्रदीप माथुर की बढ़ी हुई तौंद पर भी कटाक्ष किया और कहा कि प्रदीप तुम्हारी तौंद बहुत बढ़ रही है, इसे कम करो। प्रदीप माथुर झेंप गए और बोले कि ठीक है सर, अब इसे कम करूंगा।