
-एआईए फाउंडेशन फॉर स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग एवं मेक्ट्रॉनिक्स और स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग में उत्कृष्टता की दिशा में जीएलए के मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग ने उठाया मजबूत कदम
स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग और इंडस्ट्री 4.0 के क्षेत्रों में अनुसंधान, प्रशिक्षण और अकादमिक सहयोग को बढ़ावा देने की दिशा में जीएलए विश्वविद्यालय, मथुरा ने एक महत्वपूर्ण पहल की है। जीएलए के मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग ने आइआइटी दिल्ली स्थित एआइए फाउंडेशन फॉर स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। यह कार्यक्रम एसोसिएशन ऑफ इंडस्ट्रियल ऑटोमेशन कार्यालय, भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली में आयोजित किया गया।
इस अवसर पर जीएलए विश्वविद्यालय की ओर से इंटरनेशनल रिलेशन एंड एकेडमिक कोलॉबोरेशन विभाग के डीन प्रो. दिलीप कुमार शर्मा, मैकेनिकल इंजीनियरिंग के विभागाध्यक्ष प्रो. पीयूष सिंघल और एमओयू स्पोक पर्सन एवं एसोसिएट प्रोफेसर डा. भरत सिंह ने भाग लिया। एसोसिएशन ऑफ इंडस्ट्रियल ऑटोमेशन कार्यालय की ओर से प्रो. सुनील झा, प्रबंधक नमन कपूर और परियोजना प्रबंधक वैभव आनंद उपस्थित रहे।
इस सहयोग का प्रमुख उद्देश्य मेक्ट्रॉनिक्स, स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग, डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन और इंडस्ट्री 4.0 जैसे उन्नत क्षेत्रों में ज्ञान साझा करना, प्रायोगिक प्रशिक्षण प्रदान करना और संयुक्त अनुसंधान को प्रोत्साहित करना है। समझौते के तहत जीएलए विश्वविद्यालय के दस फैकल्टी सदस्य एआइए फाउंडेशन फॉर स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग (एफएसएम) द्वारा संचालित छह विशेष पाठ्यक्रमों में प्रशिक्षण प्राप्त करेंगे। इसके अतिरिक्त, एफएसएम स्किल्स पोर्टल का एक वर्ष का एक्सेस जीएलए के पंजीकृत फैकल्टी और छात्रों को दिया जाएगा, जिससे वह औद्योगिक आवश्यकताओं के अनुरूप निरंतर जानकारी हासिल कर सीख सकें।
अवसर पर प्रो. दिलीप कुमार शर्मा ने कहा, “आइआइटी दिल्ली-एआइए जैसे प्रतिष्ठित संस्थान के साथ यह साझेदारी हमारे छात्रों और शिक्षकों को अगली पीढ़ी की तकनीकों से जोड़ने में सहायक सिद्ध होगी।” उन्होंने कहा कि यह समझौता न केवल स्मार्ट और सतत विनिर्माण के क्षेत्र में जीएलए विश्वविद्यालय की स्थिति को और अधिक मजबूत करेगा, बल्कि नवाचार, उत्कृष्टता और वैश्विक अकादमिक सहयोग के प्रति विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है। रिसर्च एंड डेवलपमेंट विभाग के डीन प्रो. कमल शर्मा ने इस सहयोग को विश्वविद्यालय की शोध क्षमताओं को सशक्त करने वाला कदम बताया।
विभागाध्यक्ष प्रो. पीयूष सिंघल ने कहा कि यह समझौता विभागीय शिक्षा को उद्योग आधारित अनुप्रयोगों से जोड़ने का सशक्त माध्यम बनेगा और छात्रों को ‘इंडस्ट्री-रेडी’ बनाएगा। उन्होंने बताया कि यह करार मैकेनिकल विभाग के एमओयू स्पोक पर्सन डा. भरत सिंह के अथक प्रयासों से संभव हो पाया है, जो विभाग के छात्रों के लिए अत्यंत लाभकारी होगा। इस करार का क्रियान्वयन डा. भरत और नमन कपूर करेंगे। डा. भरत सिंह ने कहा कि यह साझेदारी छात्रों की प्रायोगिक दक्षता और उभरती तकनीकों में रोजगार की संभावनाओं को बढ़ाएगी।
जीएलए विश्वविद्यालय प्रबंधन ने भी इस पहल का जोरदार स्वागत किया। इस अवसर पर कुलपति प्रो. अनुप कुमार गुप्ता, सीईओ नीरज अग्रवाल, सीएफओ विवेक अग्रवाल, कुलसचिव अशोक कुमार सिंह, जीएलए ग्रेटर नोएडा के प्रतिकुलपति प्रो. दिवाकर भारद्वाज, डीओएए प्रो. आशीष शर्मा और डीन आइईटी प्रो. अशोक भंसाली ने इस सहयोग के लिए प्रसन्नता व्यक्त की और इसे छात्रों के हित में एक दूरदर्शी कदम बताया।