नई दिल्ली। अब दिल्ली-एनसीआर और उससे सटे राज्यों में प्रदूषण फैलाने वालों की खैन नहीें है। दिल्ली की आवोहवा के बिगड़ते हालातों को देखते हुए केन्द्र की मोदी सरकार गंभीर हो गई है। केन्द्र सरकार ने प्रदूषण को लेकर बड़ा कदम उठाते हुए एक आयोग बनाया है। साथ ही अब प्रदूषण फैलाने वालों पर 1 करोड़ रुपये तक का जुर्माना और 5 साल की सजा भी हो सकती है।
आयोग में इसरो के प्रतिनिधि भी होंगे। यह आयोग ईपीसीए की जगह लेगा। आयोग का मुख्यालय दिल्ली में होगा और इसके आदेश को सिर्फ एनजीटी में ही चुनौती दी जा सकेगी। इस बीच, गुरुवार सुबह में देश की राजधानी दिल्ली के कई इलाकों में हवा की गुणवत्ता यानि एआईक्यू बहुत ही गंभीर स्तर तक पहुंच गई। लोगों का सांस लेना दूभर हो गया।
केन्द्र सरकार ने दिल्ली-एनसीआर, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और यूपी के वायु प्रदूषण को देखते हुए यह आयोग बनाया है। यह आयोग वायु प्रदूषण को रोकने, उपाय सुझाने और निगरानी का काम करेगा। इसमें एक चेयरपर्सन के साथ-साथ केंद्र सरकार, एनसीआर के राज्यों के प्रतिनिधि, केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और इसरो के भी प्रतिनिधि भी होंगे। यह कमीशन एनवायरमेंट पॉल्यूशन प्रिवेंशन एंड कंट्रोल अथॉरिटी की जगह लेगा। इस कमीशन के तहत होने वाली सभी कार्रवाई को सिर्फ एनजीटी में चुनौती दी जा सकेगी।
दिल्ली में देशी पटाखे चलाने पर एक लाख का जुर्माना
प्रदूषण की लड़ाई में कई अभियान चलाए जा रहे हैं। बावजूद इसके लापरवाही हो रही है। इसी के चलते दिल्ली सरकार ग्रीन दिल्ली एप ला रही है। साथ ही दीवाली को देखते हुए भी सरकार ने सख्त कदम उठाए हैं। ग्रीन क्रैकर्स (पर्यावरण के अनुकूल पटाखे) के अलावा अगर देशी पटाखे चलाए तो एक लाख रुपये जुर्माना भरना होगा। सरकार इसके लिए 11 टीमों का गठन कर रही है। नवंबर से यह टीम काम शुरु कर देंगी। सुप्रीम कोर्ट के भी आदेश हैं कि दिल्ली की हवा को खराब न होने दिया जाए। जरूरी न हो तो पटाखे न चलाएं और प्रदूषण को कम करने में मदद करें। यह कहना है दिल्ली सरकार में मंत्री गोपाल राय का। बुधवार को एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए उन्होंने यह बात कही।